TCP/IP Model क्या है – TCP/IP Model in Hindi ?

क्या आप Computer Networking मे interested हो और Networking को अछि तरह से समझना चाहते हो ? तो आजका Article आप के लिए ही है । आज हम जानेंगे TCP/IP Model क्या है उसके बारे में। TCP/IP Model एक ऐसा model है जो पूरे internet इस्तेमाल हो रहा है और पूरे internet को बांध के रखते है। इस model के बिना पूरे internet अचल है। और इसी के ऊपर आजका हमारा Topic है। चलिए शुरू करते है-

TCP/IP Model क्या है – TCP/IP Model in Hindi?

  • TCP/IP Model का full form है Transmission Control Protocol/Internet Protocol। इस model को बनाया US की Defense ने, सन 1960 मे। इसको DOD ( Department of Defense) model भी कहा जाता है।
  • TCP/IP model का Four layers है, Application layer, Transport layer, Internet Layer, और Data link layer
  • इस model आज पूरे internet पर use हो रहा है। TCP/IP Model पूरा internet की backbone है मतलब रीड की हड्डी है। इस model ही है जो हमारे सभी डाटा को destination मे transmit करता है। आपको अगर internet में डाटा transmit कैसे होता है बह step by step जानना है तो आपको OSI model पढ़ना ही होगा। क्यूंकी इस model में डाटा transmit कैसे होता है बह चीज step by step दिखाई गई है। OSI MODEL क्या है – OSI MODEL IN HINDI?
  • OSI model एक Reference model है। आपको एक बात जरूर याद रखना है OSI model और TCP/IP Model का आपस मे कोई संबंध नहीं है।

1960-70 के दसक की internet में दो device आपस में communication नहीं कर पता था। उस समय इस problem एक major problem थी और उस problem को कैसे solution किया जाए उस चीजको लेकर दो अलग अलग company (ISO और DOD) Research करने लगे। Research ख़तम होने के बाद ISO company ने OSI Model को बनाया और दूसरी तरफ America के Defense (DOD) ने TCP/IP Model को बनाया। हम सबने जानते है इस समय जो model internet पर इस्तेमाल हो रहा है उसका नाम TCP/IP Model.

क्यों TCP/IP Model internet पर इस्तेमाल हो रहा है और और क्यों OSI model एक reference model बन कर रह गया? आपको अगर इन दोनों सवाल के जबाब जानना है तो इस आप notes को follow करो-

TCP/IP Model में कितनी layer होती है– Layer of TCP/IP Model in Hindi

दुनिया भर की सभी किताबों और internet मे बताया गया है OSI model की 7 layer है। but confusion तभी आता है जब आपको पूछा जाए TCP/IP MODEL के कितने layer है ? कुछ student का मानना है 4 layer और कुछ student का मानना है 5 layer है TCP/IP model मे। और आप अगर internet पर search करते हो वहाँ पर भी इस model का 5 layer बताया गया है। यहाँ पर ही एक confusion create होता है।

TCP IP Model in Hindi

अब आप बोलोगे इस सवाल का सही जबाब क्या है ? इस सवाल का दोनों जबाब ही सही है। मतलब आप अगर बोलोगे इस model का 4 layer है बह जबाब भी सही होगा और आप अगर बोलोगे इस model का 5 layer है बह जबाब भी सही होगा। इस notes मे मैं TCP/IP model की 4 layer के जरिए आपको समझाएंगे। चलिए शुरू करते है-

  1. NETWORK क्या है और कितने प्रकारके होते है – WHAT IS NETWORK IN HINDI
  2. ROUTER क्या है और काम कैसे करता है- WHAT IS A ROUTER IN HINDI
  3. TOPOLOGY क्या है ( TOPOLOGY IN HINDI) और कितने प्रकार के होते है ?
  4. IP ADDRESS क्या है (WHAT IS IP ADDRESS IN HINDI) और उसके प्रकार?
  5. NETWORK DEVICES IN HINDI- ROUTER, MODEM, SWITCH, REPEATER

TCP/IP Model की कार्ये – Function of TCP/IP Model In Hindi

OSI model की जो 7 layer है उसी layer को compact किया गया है TCP/IP model की 4 layer मे TCP/IP Model OSI Model का संक्षिप्त संस्करण है। और रही बात TCP/IP model के layers की working की तो बह same होगी जो OSI model मे है उसमे कोई फरक नहीं है, फरक सिर्फ ये है OSI model में सात layer के विपरीत, इसमें चार layer हैं। The layers are TCP/IP Model

  1. Process/Application Layer
  2. Host-to-Host/Transport Layer
  3. Internet Layer
  4. Network Access/Link Layer

और आपको अगर Internet कैसे काम कर रहा है या network में डाटा कैसे एक जगह से दूसरी जगह transfer हो रहा है ? यह जानना है तो मेरी सलह यह रहेगी, के आप OSI model को एकबार पढ़ो मैं guaranty देता हूँ आपको सभी सवाल का जबाब मिल जाएगा –

Application Layer in Hindi ?

OSI model की Top के 3 layer मतलब Application, Presentation and Session Layer को combined करके TCP/IP model की application layer को बनाया गया है। OSI model मे Top के तीन layers individually जो जो काम करते थे बह same काम इस model के Application Layer कर रहा है। बह काम है –

  1. इस Layer का पहला काम है User को Interface Provide करना। इस layer पर Application या Software काम करता है। इस Layer पर Gmail , Browser, Yahoo, Facebook, YouTube , etc. software काम करते है।
  2. इस layer का दूसरा काम है डाटा को encrypt/decrypt करना। मतलब हम जब भी कोई डाटा send करते है उस डाटा को इस layer और भी compact या secure बना देती है।
  3. इस layer का तीसरा काम होता है डाटा को Compress करना। मतलब कोई डाटा की size अगर 10mb है उस डाटा को इस layer Compress करके 5mb कर देता है। ऐसे डाटा को Compress करने से डाटा जल्दी destination मे पहुँचता है।
  4. इस Layer डाटा की Format या Extension को Identify करके उसको present करना। मतलब आप जब Audio सुनते हो , Video देखते हो या Photo देखते हो तो उस Audio, Video, और Photo का अलग अलग Format या Extension होता है। For Example- Audio का Extension है MP3,WAB, Video का Extension है MP4,avi, और Photo का Extension है JPEG, gif। डाटा की Format अगर MP4 है तो Presentation Layer उस डाटा को Video के रूप मे हमारे सामने Present करता है। और इस काम को Translation भी कहा जाता है।
  5. इस Layer का और एक काम है बह है, डाटा जब एक device से दूसरी device में transmit करता है उस दो devices के बीच की communication को established करना, maintaining करना और ending करना। और इन तीनों process को एकसाथ Session कहा जाता है।
  6. Application Layer मे SMTP, HTTP, HTTPS, FTP, POP3, SNMP,SSL,API, NETBIOS, WINSOCK, protocol काम करते है।

आपको अगर जानना है Protocol क्या है और इस protocol का काम क्या है internet मे ? तो इस Notes को follow करो –PROTOCOL क्या है (WHAT IS PROTOCOL IN HINDI) और उसके प्रकार?

Transport Layer in Hindi ?

OSI model मे जो Transport Layer है इस model मे भी बह Transport Layer/Host-to-Host layer ही है। Network मे Transport Layer एक महत्वपूर्ण Layer होता है।

OSI Model in Hindi
  1. इस layer का पहला काम है डाटा को Segmentation करना। डाटा Segmentation का meaning होता है डाटा को छोटे-छोटे हिस्सों में बांटना। मतलब पहले डाटा बड़े आकार में होता है, उस बड़े डाटा को छोटे-छोटे भागों में बांटता है और डाटा packet के ऊपर numbering कर देता है।
  2. इस layer का दूसरा काम है डाटा को एक जगह से दूसरी जगह (Source to Destination) Deliver करना या transport करना।
  3. इस layer का तीसरा काम है डाटा जब successfully transfer हो जाता है तो डाटा को फिरसे पुनर्मिलन करके देना। मतलब इस layer का पहले काम मे हमने देखा बड़े डाटा को छोटे-छोटे भागों में बांट दिया था। और उसी बांटा हुआ डाटा जब destination मे पहुँच जाता है तब इस layer फिरसे उस बांटा हुआ डाटा को पुनर्मिलन या एकत्रित करके देता है।
  4. इस layer और एक important काम करता है transfer के दौरान अगर कोई डाटा Packet lost हो जाता है तो इस layer उस डाटा packet को फिरसे destination address मे retransmission करता है ।

Internet Layer in Hindi ?

Transport Layer के बाद जो Layer परती है बह है Internet Layer। OSI model मे जो Network layer है बह layer इस model मे Internet Layer के रूप मे जाना जाता है । इस Layer दो काम करती है।

  1. डाटा जब एक जगह से दूसरी जगह जाता है तो उस डाटा को नहीं पता रहता है बह किस route या रास्ता से जाए ताकि बह जल्दी destination में पहुंचसके। और इस layer डाटा को सही और easiest route बताती है।
  2. इस Layer मे IP address का इस्तेमाल होता है। इस Layer का काम होता है डाटा के ऊपर Source & Destination IP address को लगाना। मतलब डाटा किस जगह से किस जगह तक जाएगी उसको Define करना। आपको और भी आसान भाषा मे समझाता हूँ, हम जब किसिको Letter लिखते है उस मे To और From का जिक्र होता है। To का मतलब होता है Letter को कहाँ send करना है उसका address। From का मतलब होता है किस जगह से Letter को Send किया जा रहा है उसका address। same काम इस layer भी करता है।
  3. Internet Layer मे IP, ICMP, IGMP, IPsec, protocol काम करते है।

Network Layer के बाद जो layer आता है बह है Network Access/Link Layer। OSI model की bottom के 2 layer मतलब Data Link Layer और Physical Layer को combined करके TCP/IP model की Network Access/Link Layer को बनाया गया है। ये layer भी एक महत्वपूर्ण Layer है। इस layer का Mainly तीन काम होता है।

  1. एक डाटा step by step सभी Layer को पार करके आता है Network Access/Link Layer मे। इस Layer मे आने से पहले डाटा Digital Signal मे था मतलब 0 & 1 मे था। इस Layer का काम है Digital Signal को Electromagnetic Signal (Analog Signal) मे Convert करके Wire या Wireless Media के जरिए डाटा को Destination मे पहुंचाना।
  2. Transmission Error को Correction करना । मतलब डाटा जब Wire या Wireless Media के जरिए Destination मे जाता है उस समय अगर कोई error आ जाता है उस error को identify करता है और उन्हें correct करने की कोशिश भी करता है इस Network Access/Link Layer।
  3. Wire या Wireless Media के जरिए जब डाटा Destination मे जाता है उस समय डाटा Flow कैसी होगी उस डाटा Flow को regulate करने का काम भी इस Layer करते है ।
  4. Network Access/Link Layer मे COXIAL, FIBER, WIRELESS, REPETER,ETHERNET, SWITCH, BRIDGE, काम करते है।

CONCLUSION

उम्मीद करता हूँ, आप TCP IP MODEL क्या है – TCP IP MODEL IN HINDI? इस notes को पूरा पढ़ने के बाद आपका सभी confusion clear हो गेया है और इस note से बोहत कुछ शिखने को मिला है। परन्तु यदि आपको इस पोस्ट में किसी जानकारी का अभाव लगता है या आपके पास इससे सम्बंधित कोई सवाल है. तो कृपया नीचे comment कर हमें जरूर बताये. आपके सुझाव हमारे लिए बहुत मायने रखते है. और एक बात आपको अगर किसी भी topic पर जानकारी चाहिए,जो अभी तक मैंने cover नहीं की तो आप नीच में comment करके बह topic बता सकते हो। आपका topic clear करने की मैं पूरा कोशिश करूंगा।

Avik Ghara

मेरा नाम Avik, मैं IT Intelligance का Author हूँ। और वर्तमान समय में मैं George Telegraph Training Institute में Computer Hardware & Networking Engineering का शिक्षक हूँ। और शिक्षक होने के नाते मुझे कंप्युटर और नेटवर्किंग के बारे में सीखना और दूसरों को सिखाने में बड़ा मज़ा आता है।

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